मनिजल की तरफ बढ रहे हैं,अपने मजबूत इरदों से..सब कुछ भूल कर...
जो बरसो पहले खोया था,वो मुकाम हासिल करना है..सब कुछ भूल कर..
कोई भी मुकाम पाने केे लिेए,उमर का बँधन तो नही..
खुदा को साथ ले कर,अकेले निकल गए है अपनी ऱाहो पे..सब कुछ भूल कर..
जो बरसो पहले खोया था,वो मुकाम हासिल करना है..सब कुछ भूल कर..
कोई भी मुकाम पाने केे लिेए,उमर का बँधन तो नही..
खुदा को साथ ले कर,अकेले निकल गए है अपनी ऱाहो पे..सब कुछ भूल कर..