तेरी बेवफाई पे अब रोते नही है हम,किसी जख्म के नासूऱ बनने पर दुखी नही होते है
हम..जब से जाना है,तू वो शीशा है जो हजाऱो बारिशों मे रहता है...
पर किसी की सूरत का वजूद बनता ही नही है...
हम..जब से जाना है,तू वो शीशा है जो हजाऱो बारिशों मे रहता है...
पर किसी की सूरत का वजूद बनता ही नही है...